नई शिक्षा नीति-2020 के प्रथम एवं द्वितीय बैच ने सत्र:2022-24 की अवधि में नई शिक्षा नीति के प्रावधान के अनुसार मनोविज्ञान विषय में परास्नातक स्तर पर द्वितीय एवं चतुर्थ सेमेस्टर में शोध परियोजना पूर्ण करते हुए तीन शोध पत्रों का प्रकाशन शोध पत्रिकाओं में कराया है।
आशा गुप्ता ने महिलाओं में दृढ़ग्राहिता के साथ-साथ महिलाओं के व्यक्तित्त्व और उनके मानसिक स्वास्थ्य का वैज्ञानिक अध्ययन किया है, जबकि साइमा परवीन ने बेरोजगार युवाओं में विषाद का अध्ययन किया है।तीनों शोध पत्र जिज्ञासा, यूजीसी स्वीकृत अंतरराष्ट्रीय शोध पत्रिका,यूजीसी जर्नल संख्या 40957, आईआईजेआईएफ इंपैक्ट फैक्टर-6.172 और वैचारिकी, यूजीसी स्वीकृत अंतरराष्ट्रीय शोध पत्रिका, यूजीसी जर्नल संख्या 47299, आईआईजेआईएफ इंपैक्ट फैक्टर-5.192 में प्रकाशित हुए हैं।वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय द्वारा शोध-कार्य को गति देने के लिए मौलिकता और गुणवत्ता को देखते हुए शोध-प्रकाशन हेतु लघु शोध-प्रबंध मूल्यांकन में अतिरिक्त 25 अंक देने का प्रावधान है।
परास्नातक मनोविज्ञान विभाग के अध्यक्ष एवं पी.जी. कॉलेज शिक्षक संघ के महामंत्री डॉ. मनोज कुमार सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि शोध-कार्य को बढ़ावा देना नई शिक्षा नीति का सबसे मजबूत पहलू है।हम शोध की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं,इसके दीर्घ-कालीन परिणाम शिक्षा की दशा को परिवर्तित करेंगे।विभागाध्यक्ष ने संपादक एवं प्रकाशक डॉ. शशि भूषण पोद्दार (पी.एच.डी., काशी हिंदू विश्वविद्यालय) को शोध-परियोजनाओं के मूल्यांकन एवं प्रकाशन में सकारात्मक सहयोग के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया।शिक्षा सेवा राष्ट्र की सेवा है, शोध कार्य उच्च शिक्षा की गुणवत्ता के केंद्र में है।
विश्वविद्यालय शिक्षक संघ के वरिष्ठ संयुक्त मंत्री एवं वनस्पति विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. जे. के. राव और छात्र नेता दीपक उपाध्याय समेत विभिन्न शिक्षकों एवं छात्रों ने महाविद्यालय के अकादमिक माहौल को बेहतर बनाने के लिए मनोविज्ञान विभाग को बधाई दिया है।
Ghazipur news: मनोविज्ञान विभाग, पी.जी. कॉलेज के परास्नातक की छात्राओं का शोध कार्य शोध पत्रिकाओं में प्रकाशित हुआ
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